Saturday, April 20, 2024
HomeDESHPATRAस्वयंसेवी संस्था पेटसी का वन रक्षा बंधन कार्यक्रम आयोजित,पेड़ हैं हमारे रक्षक,...

स्वयंसेवी संस्था पेटसी का वन रक्षा बंधन कार्यक्रम आयोजित,पेड़ हैं हमारे रक्षक, आएं हम बनें इनके संरक्षक : अर्चित आनंद

रांची : ओरमांझी के बनलोटवा गांव में मंगलवार को वन रक्षा बन्धन कार्यक्रम के तहत वनों की रक्षा का संकल्प लेते हुए पेड़ों में रक्षा सूत्र बांधे गए। यह कार्यक्रम स्वयंसेवी संस्था पेटसी, शिव शिष्य परिवार तथा वन सुरक्षा समिति के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया गया। अपने आप में एक अनूठा उदाहरण प्रस्तुत करते हुए यह कार्यक्रम धूमधाम से मनाया गया। पेट्सी के सचिव सह शिव शिष्य परिवार के मुख्य सलाहकार अर्चित आनन्द ने कहा कि पेड़ों की सुरक्षा के लिए इससे बेहतर कुछ भी नहीं हो सकता कि हम वृक्षों को अपना समझें, क्योंकि हमारे जीवन की डोर वृक्षों के साथ जुड़ीं हैं। एक वृक्ष 16 लोगों को सांसें प्रदान करती है।वृक्ष ही नही रहेंगे तो हम सांस कहां से लेंगे,बारिश कहां से होगी।इसलिए पेड़ों को हम अपने परिवार का हिस्सा समझें। बनलोटवा गांव के नशामुक्त घोषित होने पर उन्होंने गांव के सभी निवासियों को बधाई दी और इसी तरह वनों के रक्षा की कड़ी को और आगे बढ़ाने का संकल्प दुहराया। साथ ही बताया कि ये जंगल 362 एकड़ में फैला है। जिसमें 150 एकड़ को हमलोगो ने संरक्षित करने का काम किया है।इसके लिए बनलोटवा के ग्रामीण बधाई के पात्र हैं।

शिव शिष्य परिवार की उपाध्यक्ष बरखा सिन्हा ने कहा कि इस गांव को, इस मिट्टी को प्रणाम करती हूं, जिसने नशामुक्ति को अपने जीवन का आधार बनाया है। उन्होंने कहा कि नशामुक्ति का सकारात्मक प्रभाव परिवार से ही शुरू होता है। इससे अच्छा कुछ नहीं हो सकता कि परिवार, समाज और देश नशामुक्त हो जाय और हम-आप एक अच्छे समाज में जी सकें।
इस अवसर पर सभी वन सुरक्षा समिति के सदस्यों एवं अतिथियों को पेट्सी स्वयंसेवी संस्था द्वारा अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया गया।

इस अवसर पर बनलोटवा में पेटसी के प्रभात, राजन, वनलोटवा के शंकर महतो,कन्दरू महतो, कमलनाथ महतो, ग्राम प्रधान देवचरण महतो, मुखिया नीलमोहन महतो सहित एक सैकड़ों प्रकृति प्रेमी ग्रामीण उपस्थित थे।

dpadmin
dpadminhttp://www.deshpatra.com
news and latest happenings near you. The only news website with true and centreline news.Most of the news are related to bihar and jharkhand.
RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

- Advertisment -

Most Popular

Recent Comments