आदिवासी संगठनों ने सरना धर्म कोड के समर्थन में निकाली मोटरसाइकिल रैली
- रांची। सरना धर्म कोड की मान्यता हेतु चल रहे आदिवासियों के जन आंदोलन को समर्थन देने के लिए राजधानी रांची के करमटोली चौक स्थित केंद्रीय धमकुड़िया से मोटरसाइकिल रैली निकाली गयी। रैली करमटोली चौक से बिरसा चौक व बिरसा चौक से कांटाटोली चौक होते हुए वापस करमटोली चौक स्थित केंद्रीय धमकुड़िया पहुंच कर सम्पन्न हुई। इस मोटरसाइकिल रैली का आयोजन आदिवासी सेंगेल अभियान, केंद्रीय सरना समिति, अखिल भारतीय आदिवासी विकास परिषद के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। इसमें जदयू पार्टी भी शामिल रही।
मौके पर उपस्थित पूर्व सांसद सह जदयू प्रदेश अध्यक्ष सालखन मुर्मू ने कहा कि 2021 की जनगणना में सरना धर्म कोड की मान्यता के साथ शामिल होना भारत के प्रकृति पूजक आदिवासियों का मौलिक अधिकार है। यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि कुछ संगठन आदिवासी को वनवासी और हिंदू बनाने को उतारू हैं। जिसका हम विरोध करते है। सरना धर्म कोड की मांग करने वाले संविधान के अनुच्छेद 25 के तहत इसकी प्राप्ति के लिए हकदार है। उन्होंने कहा कि छह दिसंबर को पांच राज्यों में ज़ोरदार प्रदर्शन करते हुए रेल-रोड चक्का जाम किया जाएगा और केंद्र सरकार से हम सरना धर्म कोड को लागू करा कर ही रहेंगे। मोटरसाइकल रैली का नेतृत्व केंद्रीय सरना समिति के अध्यक्ष फूलचंद तिर्की, अखिल भारतीय आदिवासी विकास परिषद के अध्यक्ष सत्यनारायण लकड़ा के साथ आदिवासी सेंगेल अभियान के सदस्य एवं जदयू नेताओं ने किया।
रैली में जदयू के प्रदेश प्रवक्ता सागर कुमार, युवा प्रदेश अध्यक्ष अभय कुशवाहा, प्रदेश सचिव सुबोधकांत एवं उमेश मुंडा शामिल हुए, केंद्रीय सरना समिति के महासचिव संजय तिर्की, संरक्षक ललित कच्छप, महेंद्र बैक, विनय उरांव, नीरा टोप्पो, किसन लोहरा व सेंगेल अभियान के देवनारायण मुर्मू, चंद्रमोहन मार्डी, रामकुमार मुर्मू, सोनाराम सोरेन, सीताराम मांझी, रांची सेंगेल अभियान के कजरू मुंडा, कुशल मुंडा, संजय पाहन, सूरज मुंडा सहित अन्य शामिल थे।