रांची आनंद मार्ग के प्रवर्तक श्रीश्री आनंदमूर्ति जी की सौंवीं जयंती 26 मई को मनाई जाएगी। इस संबंध में हेहल स्थित आनंद मार्ग गुरु निवास “मधु मंजूषा” से केंद्रीय जन संपर्क सचिव
आचार्य हरीशानंद अवधूत ने बताया कि आनंद मार्ग के प्रवर्तक तारक ब्रह्म भगवान श्रीश्री आनंदमूर्ति जी का 100 वां जन्मदिवस सादगी पूर्ण तरीके से अपने -अपने घरों में साधकगण मनायेंगे। जन्म शताब्दी की पूर्व संध्या पर रांची में चार स्थानों (हेहल गुरु निवास, सुखदेव नगर बाबा अस्पताल, बैंक कॉलोनी स्थित जागृति एवं लेबर मंडी) पर 367 जरूरतमंदों को भोजन कराया गया। उनके बीच नए टाॅवेल का वितरण किया गया। उन्होंने बताया कि 26 मई को प्रातः 6 बजे जय जयकार और शंख ध्वनि के साथ जन्मदिवस का कार्यक्रम प्रारंभ होगा।
गौरतलब है कि बिहार के मुंगेर जिला के जमालपुर में वैशाखी पूर्णिमा के दिन वर्ष 1921 में आनंदमूर्ति जी का जन्म हुआ था।
बहुआयामी प्रतिभा के धनी श्रीश्री आनंदमूर्ति ने सद्गुरु के रूप में प्रथम दीक्षा वर्ष 1939 में कुख्यात दस्यु कालीचरण बंधोपाध्याय को दिया था, जो बाद में महान साधक अवधूत के रूप में कापालिकों के सहायक बने. वर्ष 1955 में उन्होंने आनंद मार्ग की स्थापना की। जिसकी शाखाएं दुनिया के 160 से भी अधिक देशों में है। यह जानकारी आचार्य सत्याश्रयानन्द अवधूत ने दी।
आनंद मार्ग के प्रवर्तक श्रीश्री आनंदमूर्ति की
जन्म शताब्दी के पूर्व संध्या पर जरूरतमंदों को कराया गया भोजन
Sourceनवल किशोर सिंह