Tuesday, April 30, 2024
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झारखंड मिल्क फेडरेशन के मेधा कृषि उत्सव में बोले बादल पत्रलेख, “दुग्ध उत्पादन में जल्द आत्मनिर्भर होगा झारखंड”


रांची। दुग्ध उत्पादन में झारखंड जल्द आत्मनिर्भर होगा। पशुपालकों को सरकार हर संभव सहायता करेगी। पशुपालन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार की ओर से नई योजनाओं का शुभारंभ किया जाएगा। उक्त बातें झारखंड सरकार के कृषि मंत्री बादल पत्रलेख ने सोमवार को एचईसी परिसर स्थित कृषि अनुसंधान केंद्र परिसर में झारखंड मिल्क फेडरेशन द्वारा आयोजित मेघा कृषि उत्सव के दौरान बतौर मुख्य अतिथि कही। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में झारखंड में दुग्ध उत्पादन बढ़ाकर पांच लाख लीटर प्रतिदिन करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। फिलवक्त झारखंड मिल्क फेडरेशन द्वारा एक लाख तीस हजार लीटर दूध का उत्पादन हो रहा है।
जन्माष्टमी के शुभ अवसर पर झारखंड राज्य सहकारी दुग्ध महासंघ द्वारा मेधा कृषि महोत्सव का आयोजन किसान प्रशिक्षण केंद्र,धुर्वा, रांची में किया गया। कृषि मंत्री ने कहा कि सरकार पशुपालकों को हर संभव सहयोग कर रही है। दुग्ध उत्पादन बढ़ाने और पशुपालन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से कई महत्वपूर्ण योजनाएं संचालित की जा रही है। जिसका लाभ कृषकों को मिल रहा है। इस अवसर पर दुग्ध उत्पादक किसानों को सरकार की ओर से एक रुपया प्रति लीटर के हिसाब से राशि का वितरण किया गया। वितरण का शुभारंभ मुख्य अतिथि द्वारा कुछ दुग्ध उत्पादकों को प्रतिकात्मक रूप से चेक प्रदान कर किया गया।

कार्यक्रम में दुग्ध उत्पादकों को संबोधित करते हुए माननीय मंत्री ने राज्य के सभी दुग्ध उत्पादकों को बधाई एवं शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि झारखंड में दुग्ध व्यवसाय के उज्ज्वल भविष्य है और दुग्ध उत्पादकों के लिए एक सुनहरा मौका है। इससे राज्य के लोगों को अपने ही राज्य में आय का स्रोत उपलब्ध होगा। मंत्री ने दुग्ध महासंघ की कार्यप्रणाली एवं प्रगति को सराहा। राज्य सरकार से महासंघ को यथासंभव सभी सहायता प्रदान करने का आश्वासन दिया। इसके पूर्व झारखंड दुग्ध महासंघ के प्रबंध निदेशक सुधीर कुमार सिंह ने मंत्री को पुष्प गुच्छ एवं शाॅल प्रदान कर स्वागत किया। अपने स्वागत भाषण में महासंघ द्वारा अब तक के किए गए कार्यों से अवगत कराया। झारखंड मिल्क फेडरेशन की ओर से बन रहे तीन डेयरी प्लांटों की स्थिति एवं आगे के लक्ष्यों पर प्रकाश डाला।

गौरतलब है कि झारखंड राज्य दुग्ध महासंघ मेघा ब्रांड के नाम से जाना जाता है। पिछले वर्षों से राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड के प्रबंधन में लगातार प्रगति के पथ पर अग्रसर है। वर्तमान में मिल्क फैडरेशन से राज्य के 18 जिलों से करीब 40 हजार दुग्ध उत्पादक परिवार जुड़े हुए हैं। प्रतिदिन लगभग एक लाख तीस हजार लीटर दूध की आपूर्ति कर रहे हैं। अभी मिल्क फैडरेशन के अधीन चार डेयरी प्लांट होटवार, कोडरमा एवं देवघर में 1.40 लाख लीटर प्रोसेसिंग क्षमता के साथ चल रहे हैं। जबकि अतिरिक्त तीन नए प्लांट देवघर, साहिन व पलामू का निर्माण अंतिम चरण में है। यहां जल्द ही उत्पादन प्रारम्भ किया जाना है। इसके अतिरिक्त दुग्ध उत्पादकों के उत्पादन लागत को कम करने तथा दूध की गुणवत्ता को बढ़ाने के उद्देश्य से महासंघ द्वारा कैटल फीड प्लाट, मिनरल मिक्सचर प्लांट बाइपास फीड एवं प्लांट भी होटवार स्थित डेयरी प्रागण में स्थापित कर संचालित किया जा रहा है।
कार्यक्रम में पशुओं के स्वास्थ्य से संबन्धित समुचित एवं सुलभ सलाह के लिए मुख्य अतिथि द्वारा टेलीमेडिसिन कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम के शरीर दौरान पशुपालकों को पशुओं के स्वास्थ्य संबंधी सलाह दी गई।
इस अवसर पर पशुपालन विभाग के वैसे छह लोगों को नियुक्ति पत्र भी प्रदान किए गए, जिनके अभिभावक का सेवाकाल के दौरान स्वर्गवास हो गया।
कार्यक्रम में दुग्ध उत्पादकों के अतिरिक्त निर्देशक, गव्य शशि प्रकाश झा, जेएमएफ महाप्रबंधक पवन मारवाह, काफी संख्या में पशुपालक एवं जेएमएफ प्रबंधन से अन्य पदाधिकारी व कर्मचारी उपस्थित रहे।

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