सतर्क तथा सावधान रह कर ही सड़क दुर्घटनाओं को टाला जा सकता है:- प्रो अशरफ

सतर्क तथा सावधान रह कर ही सड़क दुर्घटनाओं को टाला जा सकता है:- प्रो अशरफ

अमरेन्द्र कुमार सिंह
गया । गौतम बुद्ध महिला महाविद्यालय परिसर में महाविद्यालय तथा युवा प्रयास संस्था के संयुक्त तत्वावधान में 21 नवंबर, 2021 को मनाए जा रहे ‘वर्ल्ड डे अॉफ रिमेम्बरेन्स फॉर रोड ट्रैफिक विक्टिम्स’ के तहत एक संगोष्ठी आयोजन किया गया जिसकी अध्यक्षता प्रधानाचार्य प्रो डॉ जावेद अशरफ ने की। कार्यक्रम का संचालन करती हुई अंग्रेजी विभाग की सहायक प्राध्यापिका डॉ कुमारी रश्मि प्रियदर्शनी ने इस आयोजन के पीछे निहित उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम आयोजन के मूल उद्देश्यों “रिमेम्बर, सपोर्ट तथा एक्ट” पर सविस्तार चर्चा करते हुए डॉ रश्मि ने कहा कि यह कार्यक्रम सड़क दुर्घटनाओं में मारे गये लोगों को याद करने, हादसों का शिकार होकर जीवित रह गये लोगों की सहायता करने तथा अनमोल ज़िदंगियों को भविष्य में घटित होने वाली ऐसी दुर्घटनाओं से बचाने हेतु मन, वचन तथा कर्म से प्रयत्न करने के लिए आयोजित किया गया है। इसका प्रयोजन विभिन्न सड़क दुर्घटनाओं के शिकार हुए परिचितों और परिजनों की पीड़ा को साझा करना है। संगोष्ठी को संबोधित करते हुए युवा प्रयास के सचिव शमीम-उल-हक ने बढ़ती हुई सड़क दुर्घटनाओं पर गंभीर चिंता जतायी। उन्होंने युवा प्रयास संस्था के द्वारा लोगों को सड़क सुरक्षा नियमों से रूबरूं करवाने के लिए चलाए जा रहे अभियानों के बारे में बताते हुए यात्रा के दरम्यान सभी से सड़क सुरक्षा नियमों को ध्यान में रखने तथा सावधानी बरतने की गुजारिश की। ज्ञात हो कि ‘वर्ल्ड डे अॉफ रिमेम्बरेन्स फॉर रोड ट्रैफिक विक्टिम्स’ वर्ल्ड हेल्थ अॉर्गनाइजेन के निर्देशानुसार प्रतिवर्ष नवंबर माह के तीसरे रविवार को मनाया जाता है।कार्यक्रम में उपस्थित सदस्यों ने बारी-बारी से सड़क दुर्घटना से संबंधित अपने दुःखद अनुभवों को साझा किया। कॉलेज की शिक्षकेतर कर्मी रेणु सिंह ने अपने प्रतिभावान पुत्र के साथ घटे दर्दनाक सड़क हादसे का वर्णन करते हुए बताया कि किस तरह से बाइक और ट्रक की टक्कर के कारण उनका होनहार बेटा आज न देख सकता है, न बोल सकता है और न ही खुद से कोई कार्य करने में सक्षम है। उनके आँसुओं ने हर किसी को रुला डाला। शिक्षक वर्ग से डॉ प्रियंका कुमारी तथा प्यारे माँझी ने भी अपने परिवार में घटी सड़क दुर्घटना का दर्द सबसे साझा करते हुए सड़क पर चलते समय लापरवाही न बरतने की अपील की। अंग्रेजी विभागाध्यक्ष प्रो उषा राय, युवा प्रयास के सदस्य जय प्रकाश अग्रवाल, लाल प्रसाद, छात्रा मोनिका कुमारी तथा अमीषा भारती ने भी अपने विचारों और अनुभवों को साझा करते हुए हेलमेट पहन कर ही बाइक चलाने तथा जल्दबाजी न करने का संदेश दिया। कार्यक्रम के अंत में अध्यक्षीय भाषण में प्रधानाचार्य प्रो अशरफ ने छात्राओं को यातायात नियमों का अनुपालन करने कहा। दर्दनाक सड़क हादसों की रुला देने वाली यादों से गंभीर बने माहौल को खुशनुमा बनाने के उद्देश्य से प्रधानाचार्य ने शायराने अंदाज में हादसों से डरने की जगह सीख लेने की बात कही ताकि भविष्य में दुर्घटनाएँ रोकी जा सकें। उन्होंने कहा कि सतर्क तथा सावधान रह कर ही सड़क दुर्घटनाओं को टाला जा सकता है। इस कार्यक्रम में प्रो किश्वर जहाँ बेगम, प्रो अफ्शाँ सुरैया, डॉ नूतन कुमारी, डॉ निर्मला कुमारी, डॉ जया चौधरी, डॉ पूजा, डॉ नगमा शादाब, डॉ पूजा राय, डॉ फरहीन वजीरी, डॉ अमृता कुमारी घोष, रिया, तान्या, ज्योति आदि अनेक छात्राएँ उपस्थित थीं।