एबीवीपी के द्वारा गया कॉलेज गया में स्टडी सर्कल का किया गया शुभारंभ, शिक्षा के क्षेत्र में एक वैश्विक ब्रांड बनेगा
अमरेन्द्र कुमार
गया। शहर के गया कॉलेज गया में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के द्वारा स्टडी सर्कल का शुभारंभ किया गया। इस कार्यक्रम का विधिवत उद्घाटन बिहार प्रान्त के प्रान्त संगठन मंत्री सुग्रीव कुमार, बीएड विभाग के विभागाध्यक्ष धनंजय धीरज, विभाग प्रमुख अविनाश कुमार, महानगर अध्यक्ष डॉ प्रियंका तिवारी, महानगर मंत्री मैक्स अवस्थी एवं गया कॉलेज अध्यक्ष विनायक सिंह ने दीप प्रज्वलन कर किया। मंच संचालक प्रदेश कार्यकारणी सदस्य प्रिया सिंह ने किया। वही, कार्यक्रम कि अध्यक्षता नगर अध्यक्ष प्रोफेशनल प्रियंका कुमारी जी ने किया। विषय परिवेश करते हुए विभाग प्रमुख प्रोफेसर अविनाश कुमार ने कहा कि स्टडी सर्कल के तहत एक विषय का चयन किया जाएगा और सभी छात्र उस विशेष विषय के बारे में तैयार होकर आएंगे और एक निर्दिष्ट समय और स्थान पर उसी पर बोलेंगे- एक पहल जिसका उद्देश्य न केवल वर्तमान पर अपने विचार रखने की छात्रों की क्षमता विकसित करना है और अन्य प्रासंगिक विषयों पर बल्कि उन्हें उन पर अपने स्वयं के विचार विकसित करने के लिए प्रोत्साहित भी करते हैं। अभाविप के स्टडी सर्कल के उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए इस कार्यक्रम के विषय में शिक्षा नीति पर गया कॉलेज बीएड के विभागाध्यक्ष धनंजय धीरज ने कहां कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति से हम आत्मनिर्भर भारत प्राप्त करेंगे। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति अनुसंधान और नवाचार को भी बढ़ावा देगी। यह वैज्ञानिक सोच पर आधारित है और इसमें भारतीय जीवन मूल्य भी समाहित हैं। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति लागू होने से भारत दुनिया में ज्ञान की एक ‘महाशक्ति’ के रूप में उभरेगा और शिक्षा के क्षेत्र में एक वैश्विक ब्रांड बनेगा। इस मौके पर प्रदेश सह मंत्री सूरज सिंह, राष्ट्रीय कार्यकारणी सदस्य पशु पतिनाथ उपमन्यु, जिला संयोजक राजीव रंजन कुमार, प्रदेश कार्यकारणी सदस्य सुबोध पाठक, पीयूष राज अजीत, मो. दाऊद, सत्यम कुशवाहा, प्रिया सिंह, धीरज केशरी, नंदनी कश्यप, आदित्य सागर, रितिक कुमार, अंकित सागर, आदित्य कुमार, अमन शेखर, अभिषेक कुमार, संजीव कुमार, रोहम कुमार, सौरभ कुमार, आरव कुमार, हर्ष कुमार, राहुल कुमार, शानी कुमार, मनीष कुमार, साकेत कुमार, विपिन साउ, आर्याण कुमार, आशीष पाठक, सागर कुमार, अनुज कुमार आदि मौजूद थे।